दुधवा में बाघों की मौत का सीएम योगी ने लिया संज्ञान, दिए जांच के आदेश, चार बाघों की हो चुकी है मौत
Lakhimpur Kheri: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने दुधवा टाइगर रिजर्व (Dudhwa Tiger Reserve) में हाल ही में बाघों के मारे जाने की घटनाओं का संज्ञान लेते हुए शुक्रवार को गंभीर चिंता व्यक्त की और इसकी जांच के आदेश दिए.वन अधिकारियों के मुताबिक डीटीआर के किशनपुर अभयारण्य के मैलानी रेंज में शुक्रवार को मृत पाए गए छह वर्षीय नर बाघ सहित चार बाघों की 21 अप्रैल से अलग-अलग कारणों से मौत हो चुकी है.
सरकारी की ओर से जारी बयान के अनुसार उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दुधवा नेशनल पार्क में विगत कुछ दिनों में दो-तीन बाघों की मृत्यु की घटना का संज्ञान लिया है. उन्होंने प्रदेश के वन एवं पर्यावरण, जन्तु उद्यान एवं जलवायु परिवर्तन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अरुण कुमार सक्सेना, अपर मुख्य सचिव वन मनोज सिंह एवं वन विभाग के अन्य अधिकारियों को तत्काल दुधवा नेशनल पार्क जाकर विस्तृत जांच कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिये हैं.
बाघों के मौत की क्या है वजह?
अधिकारियों ने कहा कि हो सकता है कि युवा बाघ ने कोई नुकीली हड्डी खा ली हो, जिससे आंतरिक चोटें आईं और उसका पेट फट जाने से उसकी मौत हो गई. 31 मई को दुधवा बफर जोन के उत्तरी निघासन रेंज में एक चार वर्षीय नर बाघ की मौत हो गई थी. लेकिन अधिकारियों ने कहा कि इसकी मौत आपसी कलह के कारण हुई. तीन जून को दुधवा बफर जोन के एक गांव में वन अधिकारियों और ग्रामीणों की आंखों के सामने दो साल की बाघिन की मौत हो गई.
बताया जाता है कि बाघिन के नाखून व पंजे क्षतिग्रस्त हो गए थे, जिससे वह शिकार करने में अक्षम हो गई थी. शुक्रवार को किशनपुर अभयारण्य के मैलानी रेंज स्थित तालाब से छह से सात वर्षीय नर बाघ का शव बरामद किया गया.