Maharashtra Election 2024 / राहुल के महाराष्ट्र के किसानों से 3 और वादे

By Tatkaal Khabar / 15-11-2024 02:00:40 am | 1283 Views | 0 Comments
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Maharashtra Election 2024: महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव का माहौल पूरे जोरों पर है। सत्ता पक्ष और विपक्ष, दोनों ही पार्टियां अपनी पूरी ताकत झोंक रही हैं। वोटरों को आकर्षित करने के लिए बड़े-बड़े वादे किए जा रहे हैं। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को किसानों और युवाओं को केंद्र में रखते हुए तीन बड़े वादों का ऐलान किया। उन्होंने महाविकास अघाड़ी (एमवीए) के तहत किसानों के लिए ऐतिहासिक कदम उठाने की बात कही, जिसमें सोयाबीन, प्याज और कपास की एमएसपी (न्यूनतम समर्थन मूल्य) सुधारने पर खास ध्यान दिया गया।
महाविकास अघाड़ी के तीन बड़े वादे
राहुल गांधी ने कहा कि महाराष्ट्र के किसानों को उनकी मेहनत का पूरा फल मिलेगा। एमवीए ने किसानों के लिए तीन प्रमुख वादे किए:
सोयाबीन के लिए 7000 रुपये प्रति क्विंटल MSP और बोनस।
प्याज के लिए उचित मूल्य तय करने के लिए एक विशेष कमेटी।
कपास के लिए सही एमएसपी की गारंटी।
राहुल गांधी ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि पिछले तीन चुनावों से बीजेपी ने सोयाबीन के लिए 6000 रुपये की MSP का वादा किया था, लेकिन किसान आज भी औने-पौने दाम पर अपनी उपज बेचने को मजबूर हैं। एमवीए ने भरोसा दिलाया कि उनकी सरकार किसानों को न्याय, मेहनत का फल और उनके अधिकार दिलाएगी।
कांग्रेस और एमवीए के अन्य प्रमुख वादे
कांग्रेस ने अपने मैनिफेस्टो में सिर्फ किसानों ही नहीं, बल्कि महिलाओं, युवाओं और सामान्य नागरिकों के लिए भी कई बड़े वादे किए हैं। इनमें प्रमुख हैं:
समानता और जातिगत जनगणना
जातिगत जनगणना कराने और आरक्षण की सीमा 50% से ऊपर ले जाने का प्रयास।
कृषि ऋण माफी और प्रोत्साहन राशि
3 लाख रुपये तक का कृषि ऋण माफ।
नियमित ऋण अदायगी करने वाले किसानों को 50,000 रुपये की प्रोत्साहन राशि।
महालक्ष्मी योजना
महिलाओं को हर महीने 3000 रुपये की आर्थिक मदद।
महिलाओं और लड़कियों को मुफ्त बस यात्रा।
कुटुंब रक्षण योजना
प्रत्येक परिवार को 25 लाख रुपये का स्वास्थ्य बीमा।
मुफ्त दवाइयों की व्यवस्था।
बेरोजगार युवाओं के लिए आर्थिक मदद
राज्य के बेरोजगार युवाओं को हर महीने 4000 रुपये की सहायता।
किसान और महिलाओं पर विशेष ध्यान
महाविकास अघाड़ी ने अपने घोषणापत्र में किसानों और महिलाओं पर खास फोकस किया है। किसानों को न केवल कर्जमाफी का आश्वासन दिया गया है, बल्कि उनकी उपज के लिए बेहतर बाजार मूल्य सुनिश्चित करने का भी वादा किया गया है। महिलाओं के लिए आर्थिक स्वतंत्रता और सशक्तिकरण को प्राथमिकता दी गई है।