भगवद जयंती :भगवद गीता के वह उपदेश जो हम व्यक्ति के जीवन के लिए हैं महत्वपूर्ण

By Tatkaal Khabar / 25-12-2020 02:26:10 am | 19267 Views | 0 Comments
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आज यानी 25 दिसंबर 2020 को गीता जयंती है. गीता जयन्ती (Geeta Jayanti 2020) का दिन हिन्दुओं के पवित्र ग्रन्थ श्रीमद भगवद-गीता के जन्म का प्रतीक है. गीता जयंती हर साल मार्गशीर्ष मास के शुक्‍लपक्ष की एकादशी को मनाई जाती है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इसी दिन महाभारत युद्ध से पहले अर्जुन को भगवान श्रीकृष्ण ने गीता का उपदेश दिया था. आज हम आपको भगवत गीता के उन उपदेशों के बारे में बताने जा रहे हैं जो हर व्यक्ति के लिए काफी अहम हैं. 

– हमें बीते कल या फिर आने वाले कल की चिंता नहीं करनी चाहिए. आज में जीओ और आनंद लो. जो होता है वो अच्छा ही होता है.

– नाम, पद, प्रतिष्ठा, संप्रदाय, धर्म, स्त्री या पुरुष या फिर शरीर हम नहीं हैं. हमारा शरीर अग्नि, जल, वायु, पृथ्वी, आकाश से बना हुआ होता है. मृत्यु के बाद इसी में हमें मिल जाना है. लेकिन आत्मा स्थिर होती है और हम आत्मा ही हैं. आत्मा कभी न मरती है, न इसका जन्म है और न मृत्यु! आत्मभाव में रहना ही मुक्ति है.

– संसार का नियम ही परिवर्तन है. ऐसे में सुख-दुःख, लाभ-हानि, जय-पराजय, मान-अपमान आदि भेदों में एक भाव में स्थित रहकर जीवन का आनंद लिया जा सकता है.

– व्यक्ति को अपने क्रोध पर काबू रखना चाहिए. क्योंकि इससे भ्रम पैदा होता है. इससे व्यक्ति की बुद्धि विचलित होती है. इससे व्यक्ति की स्मृति का नाश हो जाता है. ऐसे में क्रोध, कामवासना और भय हमारे शत्रु होते हैं.

– खुद को भगवान में अर्पित करें. क्योंकि वही हमारी रक्षा करेंगे. भगवान ही हमें दुःख, भय, चिन्ता, शोक और बंधन से मुक्त कराएंगे.

– मन को शांत रखना बेहद जरूरी है. अनियंत्रित मन हमारा शत्रु बन जाता है. अशांत मन को शांत करने के लिए अभ्यास और वैराग्य को पक्का करना होगा.

– अपना काम करना ज्यादा अच्छा है चाहें वो अपूर्ण ही क्यों न हो. कोई और काम पूर्णता से करने से कहीं अच्छा है कि हम अपना ही काम करें.