क्या खाने में ज्यादा गेहूं बनता है डायबिटीज की वजह?
भारत देश में हाल के वर्षों में मधुमेह (Diabetes) के रोगियों में लगातार इज़ाफ़ा हुआ है। इसका सबसे बड़ा कारण हमारा खान-पान है। हम अपने खाने में बुरी चीजों को शामिल कर रहे हैं, जो इन बीमारियों को न्यौता देती हैं। उन्हीं गलत खाने में से एक है गेहूं। तो सवाल यह है कि अधिक गेहूं खाने से क्या हम मधुमेह (Diabetes) की ओर बढ़ रहे हैं। दरअसल, Diabetes को कंट्रोल करने के लिए लोग ग्लूटन फ्री फूड्स का सेवन करते हैं। गेहूं की बात करें तो स्टार्च बहुत यदा होता है। आसानी से समझे तो यह आपके शरीर में ब्लड शुगर लेवल पर खासा असर डालता है।
➨ गेहूं कैसे बढ़ाता है Diabetes?
आज के समय में लोग जो खाना खाते हैं उसमें जंक और प्रोसेस्ड फूड काफी ज्यादा पाया जाता है। इनमें से ज़्यादातर खाने पीने की में रिफाइंड आटा होता है, जो ज्यादातर गेहूं से आता है। यह Diabetes का बड़ा कारण है। मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो एक बार अक्टूबर 2020 में एक 72 वर्षीय व्यक्ति कटी हुई पैर की उंगली के साथ एक डॉक्टर से मिलने आया था। वह डायबिटिक था। वह अपने खाने में रोटी-ब्रेड का भरपूर प्रयोग करता था। फिर डॉक्टर ने उस शख्स से कहा कि सबसे पहले आप गेहूं लेना छोड़ दे। जब उस शख्स ने ब्लड टेस्ट कराया तो उसका ब्लड ग्लूकोज लेवल काफी हाई था।
➨ शहद और चावल के बारे में गलतफहमी
ऐसा ही हाल शहद का है। लोगों में यह धारणा है कि Diabetes से पीड़ित लोगों के लिए शहद अच्छा होता है। शहद Diabetes को कम नहीं करता है, लेकिन जब यह शरीर में प्रवेश करता है, तो शहद में मौजूद फ्रुक्टोज सीधे वसा में परिवर्तित हो जाता है। Diabetes में गेहूं की तुलना में चावल खराब है। जब लोग Diabetes की चपेट में आने लगते हैं तो उन्हें गेहूं का सेवन करने के लिए कहा जाता है, क्योंकि इसमें चावल से ज्यादा फाइबर होता है। लेकिन गेहूं में ग्लूटेन के रूप में प्रोटीन और कार्बोहाइड्रेट होता है। कन्फेक्शनरी और पके हुए सामान Diabetes की बड़ी वजह बनते है।