'यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो' में कई उद्यमियों को प्रोडक्शन से ज्यादा मिले ऑर्डर

By Tatkaal Khabar / 29-09-2024 02:51:42 am | 2296 Views | 0 Comments
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उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा में आयोजित हो रहा 'यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो-2024' उद्यमियों को ऐसा मंच प्रदान कर रहा है, जिससे उनकी पहचान लोकल से ग्लोबल हो रही है। प्रदेश के विभिन्न जिलों के सैकड़ों उद्यमियों के सपनों को ट्रेड शो में नया आकाश मिला। 'यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो' ने छोटे उद्यमियों के लिए ना केवल देश के विभिन्न शहरों बल्कि विदेश में कारोबार का रास्ता खोला है। रविवार को पांच दिवसीय ट्रेड शो का आखिरी दिन रहा।


पल्लवी शर्मा ने बताया कि देश के विभिन्न शहरों के कारोबारियों ने उनके बिजनेस में दिलचस्पी दिखाई है। ऑर्डर भी खूब मिले हैं। अधिक खुशी तब हुई जब दुबई, श्रीलंका और भूटान जैसे देशों के कारोबारियों ने दिलचस्पी दिखाई।

फिरोजाबाद के ग्लास वेयर उद्यमी प्रतीश कुमार ने बताया कि पांच दिवसीय ट्रेड शो पूरी तरह सफल रहा। इन पांच दिनों में स्टॉल पर देशी-विदेशी कारोबारी आए। प्रतीश की मानें तो पिछले ट्रेड शो के मुकाबले इस बार ऑर्डर बहुत ज्यादा मिला है। हमारा प्रोडक्शन उतना नहीं है, जितने का ऑर्डर मिला है। इस वजह से डिलीवरी में भी देरी होने की संभावना है।



ग्रेटर नोएडा की उद्यमी गुरिंदर कौर पहली बार 'यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो' में शामिल हुई थी। गुरिंदर कौर का फुलकारी, हैंडप्रिंट्स सूट का काम है। गुरिंदर ने बताया कि ट्रेड शो ब्रांड के प्रमोशन के लिहाज से बहुत ही बेहतरीन प्लेटफॉर्म साबित हुआ। एक ही छत के नीचे उत्पाद बेचने की जगह तो मिली ही, साथ ही साथ देशी-विदेशी कारोबारियों संग साझेदारी का भी मौका मिला।

मुरादाबाद के कारोबारी वीरेश गोस्वामी ने बताया कि उनका होम डेकोर और फर्नीचर का कारोबार है। ट्रेड शो में आने से उनके कारोबार को बहुत फायदा हुआ। देश के विभिन्न इलाकों से आए खरीदारों और दुकानदारों से बातचीत का मौका मिला तो ब्रांड को भी नई पहचान मिली। उन्हें छह लाख तक के ऑर्डर मिल चुके हैं और 15 लाख तक की बुकिंग हुई है, जिसे आगे चर्चा कर अंतिम रूप दिया जाएगा।

बागपत के दिलशाद अली का होम फिनिशिंग का कारोबार है। दिलशाद ने बताया कि रविवार को आखिरी दिन भी अच्छा ऑर्डर मिला। कारोबार के लिहाज से यह बहुत ही अच्छा प्लेटफॉर्म साबित हुआ है। योगी सरकार कारोबार को बढ़ावा देने के लिए काफी प्रयास कर रही है। स्टॉल लगाने के लिए हमें सब्सिडी भी दी गई थी।